फॉरेस्ट गार्ड भर्ती परीक्षा को लेकर सीएम का बड़ा बयान,आयोग लेगा फैसला लेकिन सरकार भी देगी अपनी राय
देहरादून । फाॅरेस्ट गार्ड भर्ती परीक्षा में एसआईटी जांच सार्वजनिक होने के बाद आयोग ने भर्ती प्रक्रिया को लेकर अभियार्थियों से सुझाव मांगे हैै,वहीं मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत का कहना है कि आयोग को जो सुझाव प्राप्त होंगे उसके आधर पर आयोग को निर्णय लेना है,लेकिन सरकार राज्य सरकार आयोग को अपना परामर्श देगी।
कैसे हुई नकल सार्वजनिक हुई रिपार्ट
उत्तराखंड फॉरेस्ट गार्ड भर्ती परीक्षा में हुई धांधली की जांच रिपोर्ट अब सार्वजनिक कर दी गई है… अधीनस्थ सेवा चयन आयोग ने रिपोर्ट सार्वजनिक करते हुए परीक्षा में शामिल हुए अभ्यर्थियों से 3 दिन में परीक्षा को स्थगित किए जाने से संबंधित राय मांगी है … जाँच में सामने आया है कि कुल 57 परीक्षार्थियों ने ब्लूटूथ के जरिए नकल की…. जिसमें से 31 अभ्यर्थियों की पहचान की जा चुकी है, जबकि 26 अभ्यर्थियों की अब तक भी पहचान नहीं हुई है ।
इसी साल फरवरी में फॉरेस्ट गार्ड पोस्ट के लिए अधीनस्थ सेवा चयन आयोग परीक्षाएं आहूत करवाई थी.. लिखित परीक्षा होने के एक दिन बाद ही इस पर सवाल खड़े होने लगे थे… यही नहीं हरिद्वार और पौड़ी जनपद में तो परीक्षा में धांधली को लेकर पुलिस में शिकायत भी दर्ज करवाई गई थी। परीक्षा में हुई धांधली पर सवाल खड़े होने के बाद युवाओं ने भी इस पर जमकर आंदोलन किया और फिर सरकार को मामले को लेकर एसआईटी जांच के आदेश करने पड़े।। इस मामले में जांच पूरी होने के बाद एसआईटी ने आयोग को रिपोर्ट सौंप दी थी। जिसको अब आयोग ने अपनी वेबसाइट पर सार्वजनिक कर दिया है। खास बात यह है कि आयोग ने इस रिपोर्ट के आधार पर अभ्यर्थियों से 3 दिनों के भीतर परीक्षा को निरस्त किए जाने से संबंधित राय मांगी है। रिपोर्ट में साफ किया गया है कि परीक्षा में सीमित परीक्षा केंद्रों पर नकल करवाई गई। इसमें
कुल 57 अभ्यर्थियों ने ब्लूटूथ डिवाइस का इस्तेमाल-किया था .जिसमे 20 हरिद्वार परीक्षा केंद्र, एक पौड़ी और एक देहरादून के परीक्षा केंद्र में अभ्यर्थी बैठे थे । 57 अभ्यर्थियों में से 31 अभ्यर्थी चिन्हित किए गए,अभी 26 अभ्यर्थियों की तलाश कि जा रही है । यही नहीं सभी 26 अभ्यर्थियों से आयोग ने 18 अक्टूबर तक जानकारी देने की अपील । दरअसल 16 फरवरी 2020 को 1218 पदों के लिए फॉरेस्ट गार्ड की भर्ती परीक्षा हुई थी । इस परीक्षा में कुल 156046 युवाओं ने आवेदन किया था जबकि 99 हजार 400 युवाओं ने इस में परीक्षा दी थी, यह परीक्षा फॉरेस्ट गार्ड के कुल 1218 पदों के लिए करवाई गई थी। उधर मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत ने आयोग की इस कार्यवाही की तारीफ की है । सीएम ने कहा की जाँच के बाद रिपोर्ट सार्वजनिक होनी चाहिए,क्योकि इससे ट्रांसपेरेंसी बनी रहती है