उत्तराखंड से बड़ी खबर

रेखा आर्या के निर्देशों को विभागीय सचिव ने किया अनदेखा,रेखा आर्या ने नहीं मानी हार,आदेश का पालन करने के फिर दिए निर्देश

देहरादून । उत्तराखंड में सरकारे किसी भी पार्टी की रही हों शासन में बैठे अधिकारियों की मनमानी के आरोप सभी सरकारों पर लगे हैं। उत्तराखंड की त्रिवेंद्र सरकार में भी कई बार अधिकारियों की मनमानी के आरोप लगते रहे है, कुछ दिन पहले समाज कल्याण मंत्री यशपाल आर्य के बिना संज्ञान में लिए हुए छात्रवृत्ति घोटाले के मुख्य आरोपी गीताराम नौटियाल की बहाली का मामला जहां प्रदेश में सुर्खियां में छाया रहता है, कि बिना विभागीय मंत्री के संज्ञान के एक घोटालेबाज के आरोप में जमानत पर चल रहे अधिकारी की बहाली हो जाती है। वही अब मामला महिला सशक्तिकरण एवं बाल विकास राज्य मंत्री रेखा आर्य को नजरअंदाज किए जाने का सामने आ रहा है । जी हां वह भी विभागीय सचिव ही रेखा आर्या को पूरी तरीके से नजरअंदाज कर रहीं हैं,और उनके आदेशों को मानने को तैयार नहीं है। जिससे जीरो टॉलरेंस के त्रिवेंद्र सरकार पर सवाल खड़े होते हैं आखिर जब मंत्री भ्रष्ट अधिकारियों पर कार्रवाई की संस्तुति कर रहे हैं तो फिर शासन के अधिकारी उन्हें बचाने का काम क्यों कर रहे हैं ।

क्या है पूरा मामला आप भी समझिए

महिला सशक्तिकरण एवं बाल विकास विभाग के उपनिदेशक के पद पर तैनात सुजाता सिंह पर भ्रष्टाचार के कई आरोपों को लेकर रेखा आर्य ने सुजाता सिंह को उप निदेशक के पद से हटाकर हरिद्वार तबादला करने के निर्देश दे दिए साथ ही सुजाता सिंह पर लगे पूरे कार्यकाल के दौरान गंभीर आरोपों को मानते हुए रेखा आर्य ने विभागीय सचिव सौजन्य को हाईकोर्ट के रिटायर जज से सुजाता सिंह के खिलाफ जांच के निर्देश दिए। लेकिन सौजन्य सिंह को विभागीय मंत्री के निर्देश नजर नहीं आएं । लिहाजा सौजन्य ने ना तो अभी तक पूर्व जज से सुजाता सिंह के खिलाफ जांच के निर्देश दिए और ना ही उन्हें हरिद्वार भेजने के आदेश जारी किए है,बल्कि सौजन्य सिंह ने सुजाता सिंह को देहरादून में कामकाजी महिला छात्रावास में प्रशिक्षण कार्यक्रम संबंधी कार्यों की देखरेख के लिए देहरादून में ही बने रहने के आदेश जारी कर दिए । ऐसे में सवाल यह उठता है कि जब विभागीय मंत्री एक अधिकारी पर लगे आरोपों की जांच कराना चाहती हैं तो फिर विभागीय सचिव क्यों जांच के लिए आदेश जारी नहीं करती हैं। खास बात ये है कि सुजात सिंह को देहरादून में नई जिम्मेदारी के साथ उपनिदेशक के पद से हटाने को लेकर कोई स्पष्ट उल्लेख नही है,जिसको लेकर रेखा आर्य ने फिर सौजन्य सिंह को सुजाता सिंह को तत्काल देहरादून मुख्यालय से हटाते हुए पूर्व में दिए गए निर्देशों का पालन करने के निर्देश दिए।

 

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