उत्तराखंड से आज की बड़ी खबर,सीएम धामी ने मदरसों का सर्वे करने को लेकर दिया बयान,मदरसा संचालकों की भी आयी प्रतिक्रिया सामने

देहरादून।  उत्तराखंड में वक्फ बोर्ड के चैयरमैन के द्वारा मदरसों की जांच कराने जाने के बयान पर मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने भी प्रतिक्रिया दी है। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी का कहना है कि मदरसों को लेकर समय समय पर तमाम तरीके की बातें सामने आती रहती है। ऐसे में जांच होना आवश्यक है ताकि सच सामने आ सके। आपको बताते चलें कि उत्तर प्रदेश में भी तेजी से मदरसों की जांच के साथ साथ अवैध मदरसों को धवस्त किया जा रहा है।

कई मदरसों पर पहले ही हो चुकी है करवाई

वही मदरसा बोर्ड के डिप्टी डायरेक्टर अब्दुल यामीन का कहना है कि मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी में मदरसों के सर्वे करने को लेकर जो बयान दिया है, उसका स्वागत किया जाना चाहिए और जो मदरसे नियमों के तहत संचालित नहीं होते हैं, उन पर कार्यवाही होनी चाहिए यहां तक कि वह भी लगातार मदरसों का निरीक्षण करते रहते हैं, और जो मदरसे नियमों को फॉलो नहीं करते हैं,उन पर कार्यवाही की जाती है। मदरसा बोर्ड के डिप्टी डायरेक्टर अब्दुल यामीन का कहना है, कि उत्तराखंड में वर्तमान में 420 मदरसे रजिस्टर्ड थे लेकिन हाल में ही 5 मदरसों की मान्यता को रद्द किया गया। जिसके तहत वर्तमान में 415 मदरसा, मदरसा बोर्ड में रजिस्टर हैं।

जांच का स्वागत लेकिन मदरसों को मिले पूरे हक

वही जब इस संबंध में हमने कई मदरसा संचालकों से मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी के बयान पर प्रतिक्रिया लेनी चाही लगभग सभी मदरसा संचालकों ने मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी के बयान की सराहना करते हुए मदरसों की जांच की बात की सराहना की और कहा कि मुख्यमंत्री का यह बयान स्वागत योग्य है कि मदरसों की जांच होनी चाहिए,मदरसा संचलको का कहना है कि जब मदरसों की जांच प्रदेश में होगी तभी यह चीजें भी सामने आएंगी कि आखिरकार मदरसे में पढ़ने वाले छात्रों को क्या कुछ दिक्कतों का सामना करना पड़ता है, मदरसा संचालकों का कहना है कि वर्तमान में कोई मदद मदरसों को सरकार की तरफ से नहीं दी जाती है, जिससे मदरसों में पढ़ने वाले छात्रों की पूरी जिम्मेदारी मदरसा खुद ही उठाता है। इसलिए जांच के साथ जो हक मदरसों को मिलने चाहिए वह भी सरकार को देने चाहिए। सबसे बड़ी बात तो यह है कि मदरसा बोर्ड के द्वारा जो मार्कशीट जारी की जाती है,उसे रद्दी माना जाता है। इसलिए उत्तराखंड बनने के बाद जो काम 22 सालों में कोई सरकार नहीं कर पाई मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी से वह मांग करते हैं कि मदरसा बोर्ड की मार्कशीट को भी उत्तराखंड बोर्ड की तरह पूरी मान्यता मिले ताकि मदरसों से पास होने वाले छात्रों को कोई दिक्कत भविष्य में ना हो।

 

 

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